नाईल नदी के बाँध के मुद्दे पर इथियोपिया की एकतरफ़ा नीति बर्दाश्‍त नही करेंगे – इजिप्ट के राष्ट्राध्यक्ष अल सिसी की चेतावनी

खार्तुम/कैरो – ‘सुड़ान और इजिप्ट के हितसंबंधों का विचार किए बगैर इथियोपिया ‘ब्लू नाईल नदी’ पर नियंत्रण बनाने के लिए कदम बढ़ा रहा है। दूसरे देशों पर ऐसें एकतरफा निर्णय थोपने की नीति हम बर्दाश्‍त नहीं करेंगे’, ऐसी कड़ी चेतावनी इजिप्ट के राष्ट्राध्यक्ष अब्देल फताह अल-सिसी ने दी। राष्ट्राध्यक्ष सिसी के दौरे से पहले इजिप्ट के वरिष्ठ लष्करी अधिकारियों ने भी सुड़ान का दौरा किया हैं और सुड़ान के साथ लष्करी सहयोग से संबंधित समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं। अल-सिसी की चेतावनी और उससे पहले किये गए इस समझौते की वजह से, नाईल नदी के बाँध के मुद्दे पर इस क्षेत्र में संघर्ष शुरू होने के संकेत प्राप्त हो रहे हैं।

इजिप्ट के राष्ट्राध्यक्ष अल-सिसी ने शनिवार के दिन सुड़ान का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने राजधानी खार्तुम में सुड़ान के ‘सॉव्हरिन कौन्सिल’ के प्रमुख अल बुरहान से मुलाकात की। इस चर्चा के बाद जारी किए गए निवेदन में इजिप्ट के राष्ट्राध्यक्ष ने इथियोपिया को निर्णायक चेतावनी दी। इजिप्ट और सुड़ान नाईल नदी के बाँध के मुद्दे पर एक हुए हैं और इस मसले का पुख्ता हल निकलें, ऐसी पद्धति से बातचीत करने के लिए आवश्‍यक भूमिका अपनाई होने की बात सिसी ने इस दौरान कही। इसी बीच, इथियोपिया के साथ जारी सीमा विवाद के मुद्दे पर भी इजिप्ट अब सुड़ान के पक्ष में होने की बात उन्होंने स्पष्ट की।

सुड़ान और इथियोपिया में १,६०० किलोमीटर की लंबी सीमारेखा हैं और इसके कई हिस्सों में सीमारेखा तय नही की गई हैं। सुड़ान के ‘अल-फश्‍का’ प्रांत की ६०० किलोमीटर की सीमा इथियोपिया से जुड़ी है और यह हमेशा से ही विवाद का मुद्दा रहा है। ‘अल-फश्‍का’ पारंपरिक नज़रिये से सुड़ान का हिस्सा होने के बावजूद इथियोपिया की हुकूमत ने अपनी जनता को, इस क्षेत्र में घुसपैठ करने के लिए खुली छूट दे रखी थी। इथियोपिया की सेना ने सुड़ान के अल-फश्‍का प्रांत में अपने सैनिक उतारें थे। इस मुद्दे पर दोनों देशों के बीच लगातार संघर्ष हो रहा है और सुड़ान ने पीछे ना हटने का इशारा दिया है।

बीते वर्ष के अन्त से नाईल नदी के बाँध का मुद्दा भी सामने आया है। इथियोपिया ने वर्ष २०११ में नाईल नदी पर बाँध का निर्माण करने का निर्णय किया था। ‘द ग्रैण्ड इथियोपियन रेनेसान्स डैम’ नामक इस बाँध के निर्माण के लिए ४.६ अरब डॉलर्स की लागत होगी और फिलहाल इस बाँध का ७० प्रतिशत से भी अधिक निर्माणकार्य पूरा होने की बात कही जा रही है। इथियोपिया के इस बाँध का निर्माणकार्य पूरा होकर, इसे अगर पूरी क्षमता से कार्यान्वित किया, तो इजिप्ट और सुड़ान को इससे बड़ा झटका लगेगा, यह दावा दोनों देश कर रहे हैं।

इथियोपिया ने लिखित समझौता करके, नदी के पानी का प्रवाह कायम रहेगा, इसकी गारंटी देनी होगी, यह माँग की गई थी। लेकिन, बीते दशक से जारी चर्चा के बाद भी इथियोपिया ने लिखित गारंटी देने की तैयारी नहीं दिखाई है। इस वजह से इजिप्ट और सुड़ान अधिक आक्रामक हुए हैं। इजिप्ट के राष्ट्राध्यक्ष का सुड़ान दौरा और उन्होंने दी चेतावनी भी इसी आक्रामकता का हिस्सा होने की बात दिख रही है।

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