‘डीआरडीओ’ ने विकसित किये ‘हायपरसॉनिक विंड टनेल’ का रक्षामंत्री के हाथों उद्घाटन – अमरीका, रशिया के बाद भारत तीसरा देश

हैदराबाद – रक्षामंत्री राजनाथ सिंग ने हैदराबाद में ‘रक्षा संशोधन और विकास संस्था’ (डीआरडीओ) ने बनाये ‘हायपरसॉनिक विंड टनेल’ का उद्घाटन किया। हायपरसॉनिक विमान, क्षेपणास्त्र, ईंजन इनके परीक्षण के लिए यह ‘हायपरसॉनिक विंड टनेल’ बहुत ही महत्त्वपूर्ण साबित होगा। देसी बनावट की ऐसी सुविधा विकसित करनेवाला भारत, यह अमरीका और रशिया के बाद का दुनिया का तीसरा देश बना है। इस समय, ‘डीआरडीओ’ के संशोधक भारत को ‘लष्करी महासत्ता’ बनाएँ, ऐसा आवाहन राजनाथ सिंग ने किया। इसके द्वारा भारत महासत्ता बनेगा, ऐसा रक्षामंत्री ने अधोरेखांकित किया।

राजनाथ सिंग हैदराबाद के दो दिन के दौरे पर हैं। रविवार को रक्षामंत्री राजनाथ सिंग ने हैदराबाद स्थित डीआरडीओ के डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम मिसाईल कॉम्प्लेक्स की भेंट की। इस समय रक्षाराज्यमंत्री जी. किशन रेड्डी भी उपस्थित थे। इस भेंट में डीआरडीओ विकसित कर रहें रक्षातंत्रज्ञान का मुआयना रक्षामंत्री ने किया। ड्रोनविरोधी तंत्रज्ञान का मुआयना भी राजनाथ सिंग द्वारा किया गया।

इस समय डीआरडीओ ने विकसित किये स्वदेशी बनावट के ‘हायपरसॉनिक विंड टनेल’ का उद्घाटन राजनाथ सिंग ने किया। यह विशाल टनेल भविष्य में हायपरसॉनिक क्षेपणास्त्र, विमान तथा ईंजनों के परीक्षणों के लिए बहुत महत्त्वपूर्ण साबित होगा। यहाँ के ‘हायपरसॉनिक विंड टनेल’ की व्याप्ति को देखते हुए, इस प्रकार की सुविधा निर्माण करनेवाला भारत यह अमरीका और रशिया के बाद तीसरा देश बना है।

इस समय रक्षामंत्री ने डीआरडीओ के संशोधकों के साथ संवाद किया। भारत को लष्करी महासत्ता बनाने का आवाहन राजनाथ सिंग ने डीआरडीओ के संशोधकों से किया। इससे भारत भविष्य में महासत्ता बनेगा, ऐसा राजनाथ ने कहा। इस समय रक्षामंत्री ने डीआरडीओ के युवा संशोधकों की सराहना की। डीआरडीओ ने अगली पीढी की अत्याधुनिक आवश्यकताओं की ओर ध्यान देने की ज़रूरत है। इनमें सायबर सुरक्षा, अंतरिक्ष और आर्टिफीशिअल इंटिलिजन्स (एआय) के बारे में ख़ासकर सोचना चाहिए, ऐसा राजनाथ सिंग ने कहा।

इसी बीच, दस दिन पहले ही ‘डीआरडीओ’ ने ‘क्वांटम की डिस्ट्रीब्युशन’ (क्यूकेडी) इस तंत्रज्ञान के आधार पर हैदराबादस्थित अपनीं दो प्रयोगशालाओं में संपर्क स्थापित किया था।

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