अमरीका ने आतंकियों की सूचि से ‘ईटीआयएम’ को हटाने से चीन आगबबूला

china-xinjiangवॉशिंग्टन/बीजिंग – अमरीका ने ‘ईस्ट तुर्कस्तान इस्लामिक मुवमेंट’ (ईटीआयएम) नामक संगठन को आतंकियों की सूचि से हटाया है। ‘ईटीआयएम’ संगठन अस्तित्व में होने के पुख्ता सबुत प्राप्त ना होने से यह निर्णय किया गया है, यह जानकारी अमरीका ने साझा की है। अमरीका के इस निर्णय पर चीन ने तीव्र गुस्सा ज़ाहिर किया है और आतंकी संगठनों को लेकर अमरीका दोगली भूमिका अपना रही है, ऐसी आलोचना चीन ने की है। इसी बीच, अमरीका के इस निर्णय की वजह से, झिंजियांग प्रांत में उइगरवंशियों के विरोध में चीन की जारी कार्रवाई इसके आगे तीव्र आलोचना का कारण साबित हो सकती है। इसी वजह से अमरीका के इस निर्णय से चीन की बौखलाहट होती दिख रही है।

अमरिकी विदेशमंत्री माईक पोम्पिओ ने दो दिन पहले ही ‘ईटीआयएम’ को आतंकी संगठनों की सूचि से हटाने का ऐलान किया। ‘बीते दशक से चीन दावा कर रहा ‘ईस्ट तुर्कस्तान इस्लामिक मुवमेंट’ (ईटीआयएम) नामक आतंकी संगठन के अस्तित्व के किसी भी तरह के पुख्ता सबुत प्राप्त नहीं हुए हैं। इस वजह से ‘ईटीआयएम’ को आतंकी संगठन की सूचि से हटाया जा रहा है’, यह घोषणा अमरिकी विदेशमंत्री ने की है। सन २००२ में अमरीका ने ‘ईटीआयएम’ को आतंकी संगठनों की सूचि में शामिल किया था। अमरीका ने आतंकियों के विरोध में शुरू किए युद्ध की पृष्ठभूमि पर चीन का समर्थन प्राप्त करने के लिए ‘ईटीआयएम’ के खिलाफ कार्रवाई की थी। लेकिन, पिछले कई वर्षों में चीन ने इस संगठन के खिलाफ पुख्ता सबुत पेश नहीं किए हैं, यह दावा विश्‍लेषक कर रहे हैं। इसी कारण अमरीका ने ‘ईटीआयएम’ को आतंकी संगठनों की सूचि से हटाया है।

us-etimअमरीका स्थित उइगरों के संगठन ने अमरीका के इस निर्णय का स्वागत किया है। बीते कई वर्षों से यह निर्णय प्रलंबित था और अब इस निर्णय की वजह से, चीन ने रखे आरोप मिट्टी में मिले हैं, यह बयान उइगरों की संगठन ने किया है। तभी अमरीका के इस निर्णय पर चीन ने काफी गुस्सा व्यक्त किया है। ‘ ‘ईटीआयएम’ एक आन्तर्राष्ट्रीय आतंकी संगठन है और इस संगठन से चीन के साथ विश्‍व के लिए भी खतरा बनता है। ऐसे इस आतंकी संगठन के विरोध में अमरीका दोगली भूमिका ना अपनाएँ। आन्तर्राष्ट्रीय आतंकवाद के खिलाफ जारी सहयोग से पीछे हटना अमरीका बंद करें’, ऐसी आलोचना चीन के विदेश मंत्रालय ने की है। साथ ही अमरीका आतंकी संगठन का इस्तेमाल खुद के लाभ के लिए कर रही है, यह आरोप भी चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता वैंग वेन्बिन ने किया है।

‘ईटीआयएम’ संगठन चीन के झिंजियांग प्रांत में आतंकवाद फैला रहा है, यह आरोप चीन कर रहा है। यह संगठन ‘ईस्ट तुर्कस्तान’ का निर्माण करने के लिए कोशिश कर रहा है, यह आरोप करके चीन ने झिंजियांग प्रांत में उइगर और तुर्क भाषिकों पर कार्रवाई की है, यह आलोचना मानव अधिकार संगठन कर रहा है। चीन की कम्युनिस्ट हुकूमत ने झिंजियांग प्रांत में निर्माण किए उत्पीड़न शिविर इसकी मिसाल हैं, यह दावा भी किया जा रहा है। इसी वजह से ‘ईटीआयएम’ को ‘टेरर लिस्ट’ से हटाकर अमरीका ने चीन को बड़ा झटका दिया है, यह दावा मानव अधिकार संगठन कर रहा है।

china-wang-wenbinआतंकवाद के मुद्दे पर अमरीका दोगली नीति अपना रही है, यह आरोप कर रहें चीन की खुद की, आतंकवाद के मुद्दे पर अपनाई भूमिका हमेशा से संदिग्ध रही है। भारत में आतंकी हमलें करके निर्दोष नागरिकों का खून बहाने वाले जमात उल दावा, जैश ए मोहम्मद, हिज़बुल मुजाहिदीन जैसे पाकिस्तान के आतंकी संगठनों की चीन ने आज तक रक्षा की है। तांत्रिक कारणों (टेक्निकल इशूज्) का बहाना बनाकर, चीन ने इन आतंकी संगठनों के खिलाफ सुरक्षा परिषद के कार्रवाई करने पर विरोध जताया था। भारत ने आवाहन करने के बावजूद भी चीन ने अपने नकाराधिकार (वीटो) का गलत इस्तेमाल करना जारी रखा और भारत की सुरक्षा के लिए ख़तरा साबित होनेवाले निर्णय किए थे।

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