चीन सुपरसोनिक ड्रोन, मिसाइलों का शक्ति प्रदर्शन करेगा

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तरबीजिंग/वॉशिंग्टन – आनेवाले १ अक्तुबर के दिन चीन ७० वे राष्ट्रीय दिन के अवसर पर प्रगत हथियारों का शक्तिप्रदर्शन करेगा| इसमें सुपरसोनिक ड्रोन, अमरिकी लष्करी ठिकानों तक हमला करने की क्षमता रखनेवाले मिसाइल, टैंक एवं अन्य खतरनाक हथियारों का समावेश रहेगा, यह दावा अंतरराष्ट्रीय विश्‍लेषकों ने किया है| यह शक्तिप्रदर्शन अमरिका और मित्रदेशों के लिए इशारा देने के लिए होगा, ऐसा अमरिका और ब्रिटेन के माध्यमों ने प्रसिद्ध किया है|

पिछले कुछ दिनों से राजदानी बीजिंग के कुछ हिस्सों में लष्करी जमावडा बढा है और रात के समय लष्करी गाडियां और हथियारों की यातायात हो रही है| इसी बीच कुछ इलाकों में कर्फ्यु लगाने की खबरे भी ब्रिटीश माध्यम दे रहे है| पिछले सप्ताह से शुरू हथियार एवं लष्करी गतिविधियों के फोटो स्थानिय लोगों ने चीन के सोशल मीडिया पर प्रसिद्ध किए ह दो दिन पहले चीन की सेना ने २४ घंटों का अभ्यास भी किया, ऐसा कुछ स्थानिय लोगों का कहना है|

इस दौरान चीन की सेना ने तैयार किए प्रगत हथियारों का प्रदर्शन भी किया गया| इसमें ‘डीआर-८’ एवं ‘वुझेन-८’ इस सुपरसोनिक ड्रोन का भी समावेश था| वर्ष २०१५ में चीन के मुखपत्र ने पहली बार इस ड्रोन का परीक्षण करने का समाचार दिया था| लेकिन, इसके बाद इस सुपरसोनिक ड्रोन संबंधी काफी गोपनीयता रखी गई थी| चीन का ‘डीआर-८’ ड्रोन अमरिकी कंपनी लॉकहिड मार्टीन के ‘एसआर-७१’ इस ड्रोन की नकल होने का दावा किया जा रहा है| दुसरे विश्‍वयुद्ध के दौरान चीन में गिरे ‘एसआर-७१’ पर प्रयोग करके चीन ने ‘डीआर-८’ का निर्माण किया है, यह आरोप इससे पहले ही किया गया था|

इस ड्रोन के अलावा पिछले कुछ दिनों से बीजिंग के रस्ते पर डीएप-४१ अंतरमहाद्विपीय बैलेस्टिक मिसाइल और पनडुब्बी से प्रक्षेपित करनेवाला ‘जेएल-२’ इन बैलेस्टिक मिसाइलों के फोटो भी स्थानिय लोगों ने प्रसिद्ध किए है| इनमें से ‘डीएफ-४१’ अंतरमहाद्विपीय बैलेस्टिक मिसाइल ३.३५ मैक (४,१००० किलोमीटर प्रति घंटा) इस गति से हमला कर सकता है| वही यह मिसाइल प्रशांत महासागर के गुआम द्विप तक हमला करने की क्षमता रखता है, यह दावा शांघाय में एक लष्करी विश्‍लेषक ने दिया| ‘डीआर-४१’ मिसाइल दस से बारह परमाणु बम के साथ हमला करने की क्षमता रखता है, यह दावा चीन ने इससे पहले भी किया था|

साथ ही भार में कम होनेवाले ‘टाईप १५’ टैंक, ‘एचके-६’ बॉम्बर विमान भी इसमें शामिल किए ए है| इनमें से ‘एचके-६’ बॉम्बर विमानों का इस्तेमाल चीन ने ‘साउथ चाइना सी’ में गश्त करने के लिए किया था| अमरिका की विध्वंसक इसी समुद्री?क्षेत्र में गश्त कर रही थी, तभी चीन ने यह  बॉंम्बर विमान रवाना किए थे| इस वजह से ‘साउथ चाइना सी’ के क्षेत्र में तनाव बना है|

इस दौरान ‘जागतिक शांति और स्थिरता स्थापित करने के लिए चीन कटिबद्ध है| इस वजह से राष्ट्रीय दिन के अवसर पर हो रहे अपना यह लष्करी संचालन किसी भी देश या प्रदेश के विरोध में नही है, यह खुलासा चीन की सेना ने महीने पहले किया था| लेकिन, चीन का यह वर्णित संचालन ‘साउथ  चाइना सी’ में यातायात के आजादी के कारण से गश्त कर हे अमरिका और मित्रदेशों के लिए इशारा होने का दावा अमरिकी और ब्रिटीश माध्यम एवं लष्करी विशेषज्ञ कर रहे है|

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