अमरिका भारत और चीन के बीच सीमा विवाद भड़का रहा है- चीन के सरकारी माध्यमों का दावा

बीजिंग: डोकलाम के सीमा विवाद को लेकर रोज भारत को धमकियाँ देने वाला चीन, अब इस विवाद के लिए अमरिका को जिम्मेदार ठहरा रहा है| ‘ग्लोबल टाईम्स’ में प्रसिद्ध हुए एक लेख में दावा किया गया है कि अमरिका और पश्चिमी देश भारत और चीन के बीच सीमा विवाद भड़का रहे हैं|

‘सु तान’ नाम के एक विश्लेषक ने लिखे इस लेख में अमरिका भारत और चीन के बीच सीमा विवाद भड़काने की टीका की है| अब तक डोकलाम सीमा विवाद पर अमरिका ने किसी का भी समर्थन न करते हुए, इस परिस्थिति पर बारीक़ नजर रखी है, ऐसा कहा है| साथ ही अमरिका ने आवाहन किया है कि दोनों देश इस विवाद को चर्चा करके सुलझाए| अमरिकी विदेश मंत्रालय की मध्य और दक्षिण एशिया की भूतपूर्व उपमंत्री निशा बिस्वाल ने, चीन को ऐसा सुझाव दिया है कि भारत एक बहुत बड़ी शक्ति है, इस बात को ध्यान में रखते हुए चीन इस विवाद की तरफ देखे|

ऐसा होते हुए भी चीन आरोप कर रहा है कि अमरिका डोकलाम विवाद को भड़का रहा है| ‘साउथ सी’ क्षेत्र में भी अमरिका चीन के पडौसी देशों को भड़काकर विवाद को बढाने की कोशिश कर रहा है| लेकिन विवाद भड़काकर अमरिका को कुछ भी लाभ होने वाला नहीं है| अगर भारत और चीन के बीच संघर्ष हुआ तो, उससे अमरिका को कुछ भी लाभ होने वाला नहीं है, ऐसा इस लेख में कहा गया है| इसी दौरान भारत और अमरिका में अनेक विषयों पर मतभेद हैं, इस बात की तरफ इस लेख में ध्यान खींचने कोशिश की गई है|

दौरान, ऑस्ट्रेलिया की विदेश मंत्री ज्यूली बिशप कुछ दिन पहले भारत दौरे पर आई थी| उन्होंने डोकलाम विवाद पर अपनी प्रतिक्रिया दी थी और इस विवाद को शांतिपूर्वक सुलझाने का आवाहन किया था| ऐसा होते हुए भी ऑस्ट्रेलिया की विदेश मंत्री ने भारत का समर्थन किया था, ऐसा भी इस लेख में लिखा गया था| दौरान, हिन्द महासागर में हाल ही में भारत, अमरिका और जापान नौदल में किया गया ‘मलाबार’ समुद्री युद्धाभ्यास मतलब चीन को दिया गया इशारा है, ऐसा आरोप भी चीन ने किया है|

चीन के कुछ विश्लेषकों ने आरोप लगाया था की अमरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया इन देशों के समर्थन के बलबूते पर ही भारत चीन के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है| लेकिन भारतीय विश्लेषकों ने इसका जवाब देते हुए कहा है कि भूटान में घुसपैठ करके चीन ने इस विवाद को शुरू किया है|

चीन के खिलाफ अमरिका भारतीय नौदल की मदद करे- भूतपूर्व सीनेटर लारी प्रेस्लर

अमरिका के भूतपूर्व सीनेटर लारी प्रेस्लर ने हाल ही में प्रकाशित की अपनी किताब में चीन की विस्तारवादी नीति पर चिंता व्यक्त की है| चीन की इस नीति से अमरिका को खतरा निर्माण हो सकता है, ऐसी स्थिति में अमरिका ने चीन को उचित सन्देश देना आवश्यक है, ऐसा प्रेस्लर ने अपनी ‘नेबर्स इन आर्म्स: अन अमेरिकन सिनेटर्स क्वेस्ट फॉर डिसआर्मामेण्ट इन नुक्लेअर सब कॉन्टिनेंट’ इस किताब में कहा है|

चीन को कडा सन्देश देने के लिए अमरिका ने भारतीय नौदल का सामर्थ्य बढाने का सोचना चाहिए, ऐसी सलाह प्रेस्लर ने दी| इसके लिए अमरिका भारतीय नौदल को परमाणु शस्त्र की आपूर्ति करे, ऐसा सुझाव प्रेस्लर ने दिया है| ऐसा हुआ तो चीन अपनी आक्रामक नीति पर फिर से विचार करेगा, ऐसा प्रेस्लर ने दावा किया है| प्रेस्लर ने अपनी इसी किताब में पाकिस्तान पर कड़ी टीका की है और कहा है कि पाकिस्तान अमरिका का विश्वासघात करने वाला देश है|

 

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