ईरान में चौबीस घंटों मे कोरोनावायरस से 144 मृत

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तेहरान – गत २४ घंटों में कोरोनावायरस के कारण ईरान में १४४ लोगों की जानें जा चुकी हैं। इस संक्रमण के कारण अब तक ईरान में २३०० से अधिक लोग जान गँवा चुके हैं। वहीं, एक दिन में इस संक्रमण के २९२७ नये मरीज़ पाये गये हैं। अन्य आखाती देशों में भी इस संक्रमण ने प्रवेश किया होकर, इराक में इस संक्रमण के ३१ मरीज़ों की मौत हुई है। वहीं, आखाती देशों में मृतकों की संख्या नौं पर गयी है। इसी दौरान, ईरान में हालाँकि यह संक्रमण कहर ढा रहा है, फिर भी हमारा देश अमरीका की सहायता नहीं लेगा, ऐसा ईरान के वरिष्ठ अधिकारी ने कहा है।

महीने भर पहले ईरान में कोरोनावायरस ने प्रवेश करने के बाद इस संक्रमण ने २३७८ जानें लीं हैं। शुक्रवार को ईरान में १४४ लोगों की मौत होने के बाद सरकार ने इस संक्रमण को रोकने के लिए अधिक सख़्त उपाययोजनाएँ हाथ में लीं हैं। लेकिन ईरान में अंतर्गत प्रवास पर इससे पहले ही पाबंदी लगायी गयी है। अत: ईरान की सरकार की नयीं उपाययोजनाएँ इस संक्रमण पर रोक लगाने में कहाँ तक असरदार होंगी, इसपर सवाल उठाया जा रहा है।

इस संक्रमण का सामना करने के लिए ईरान के पास पर्याप्त स्वास्थ्यविषयक सुविधाएँ नहीं हैं। इस कारण ईरान की हालत भयंकर बनी होकर, अमरीका के निर्बंधों के चलते इस संक्रमण का मुक़ाबला करते समय हमारी सरकार के सामने बह्त बड़ीं चुनौतियाँ खड़ीं हो रहीं हैं, ऐसा ईरान के राष्ट्राध्यक्ष ने कहा था। अमरीका ये निर्बंध हटायें इसके लिए ईरान के राष्ट्राध्यक्ष ने आवाहन भी किया था। लेकिन तभी अमरीका ने ईरान पर नये निर्बंध लादकर इस माँग को ठुकराया था। इस पार्श्वभूमि पर ईरान के इस्लामिक रेव्होल्युशनरी गार्ड कॉप्स (आयआरजीसी) के चीफ कमांडर मेजर जनरल हुसैन सालामी ने अमरीका के विरोध में आक्रमक सुर अलापा है। इस संक्रमण को रोकने के लिए ईरान अमरीका की सहायता नहीं लेगा, ऐसा मेजर जनरल सालामी ने कहा है। अमरिकी यंत्रणा उनकी जनता को कोरोना वायरस से बचाने में नाक़ाम साबित हुई होकर, उल्टा यदि अमरीका सहायता चाहती है, तो ईरान अमरीका को सहायता करने के लिए तैयार है, ऐसा मेजर जनरल सालामी ने कहा है।

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