व्हॅटिकन द्वारा मदर तेरेसा को संत की उपाधि प्रदान

व्हॅटिकन सिटी, दि. ४ (पीटीआय) – करुणा और सेवाभाव की जीतीजागती मिसाल मानी जानेवालीं ‘मदर तेरेसा’ को ‘संत’ की उपाधि प्रदान की गई है| ख्रिस्तधर्मियों के सर्वोच्च धर्मगुरु पोप फ्रान्सिस ने व्हॅटिकन सिटी में इसकी घोषणा की| इस समय लाखों श्रद्धालुओं का समुदाय मौजूद था| भारत की विदेशमंत्री सुषमा स्वराज भी इस समय मौजूद थीं|

mother teresa - मदर तेरेसामदर तेरेसा के कार्य के बारे में अतीव आदर की भावना रहनेवाले भारतीयों ने, इस कार्यक्रम का सीधा प्रसारण न्यूजचैनल पर देखा| यह पूरे देश के लिये संस्मरणीय और अभिमान की घड़ी है, ऐसी प्रतिक्रिया प्रधानमंत्री मोदी ने दी|

मदर तेरेसा का जन्म सन १९१० में मॅसिडोनिया में हुआ था और सन १९९७ में उनका निधन हुआ| लेकिन भारत ही उनकी कर्मभूमि बनी| शिक्षकी पेशा छोड़कर, उस समय की कलकत्ता (कोलकाता) की गरीबों की बस्ती से अपना सेवाकार्य शुरू करनेवाली सिस्टर तेरेसा को आनेवाले समय में, अपनी अपरंपार करुणा और सेवाभाव की वजह से ‘मदर तेरेसा’ ऐसी पहचान प्राप्त हुई| ‘मिशनरीज् ऑफ चॅरिटी’ इस संस्था के माध्यम से गरीब लोगों की सेवा करनेवालीं मदर तेरेसा को, सन १९७९ में नोबल पुरस्कार से नवाज़ा गया| सन १९८० में ‘भारतरत्न’ यह देश का सर्वोच्च किताब उन्हें प्रदान किया गया| दुनियाभर में करुणा तथा सेवाभाव की जीतीजागती मिसाल के तौर पर मदर तेरेसा को देखा जाता है|

‘व्हॅटिकन द्वारा मदर तेरेसा को ‘संत’ की उपाधि प्रदान की जानी चाहिए’ ऐसी माँग भारत के साथ दुनियाभर से की जा रही थी| मदर तेरेसा इनके दो चमत्कार सिद्ध होने के बाद व्हॅटिकन ने इस साल के मार्च महीनें में, उन्हे ‘संत’ की उपाधि देने की घोषणा कर दी| उनकी १९ वीं पुण्यतिथि के अवसर पर यह ‘संत’ की उपाधि मदर तेरेसा का प्रदान की जायेगी, ऐसा व्हॅटिकन ने घोषित कर दिया था| इसके बाद भारत में खुशी जताई गई थी| पिछले ४०० साल में, ख्रिस्तवासी होने के बाद सिर्फ़ १९ सालों में यह सन्मान प्राप्त होनेवालीं मदर तेरेसा ये पहली ‘संत’ बनी हैं| ‘संत’ की उपाधि मिलने के लिए साधारणत: १८० वर्ष का समय लगता है, ऐसी जानकारी दी जा रही है|

व्हॅटिकन सिटी में रविवार सुबह आयोजित किये गये कार्यक्रम में लगभग तीन लाख भाविक उपस्थित थे| इस कार्यक्रम के लिए १५०० से ज्यादा लोगों को आमंत्रित किया गया था| भारत की विदेशमंत्री सुषमा स्वराज और पश्‍चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बॅनर्जी समेत भारतीय प्रतिनिधिमंडल इस कार्यक्रम में उपस्थित था| १३ देशों के राष्ट्रप्रमुखों ने इस समारंभ में उपस्थित रहकर मदर तेरेसा के प्रति अपनी सद्भावना ज़ाहिर की| इसी दौरान, मदर तेरेसा को ‘संत’ की उपाधि मिलने के अवसर पर भारत ने ‘संत मदर तेरेसा’ के नाम से टपाल टिकट जारी किया है|

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