अमरिका, ब्रिटन और फ़्रांस के साथ साथ सऊदी भी सीरिया पर हमला करने के लिए तैयार – क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तर

पॅरिस: दौमा में रासायनिक हमलों के बाद संयुक्त राष्ट्रसंघ की सुरक्षा परिषद में अमरिका ने सीरिया के विरोध में प्रस्ताव रखा है। लेकिन रशिया ने इस बार भी नकाराधिकार का इस्तेमाल करके अमरिका की कोशिश को नाकाम किया है। इस साल रशिया ने चार बार नकाराधिकार का इस्तेमाल करके सीरिया को बचाया है। अब तक रशिया ने सीरिया के लिए १२ बार नकाराधिकार का इस्तेमाल किया है। लेकिन इस बार रशिया के नकाराधिकार पर अमरिका, ब्रिटन और फ़्रांस की तीव्र प्रतिक्रिया उमटी है। इन तीनों देशों ने सीरिया के मामले में चर्चा शुरू की है और यह चर्चा मतलब सीरिया पर हमले की तैयारी है, ऐसा दावा किया जा रहा है।

फ़्रांस के राष्ट्राध्यक्ष इमैन्युअल मैक्रॉन ने सीरिया में हुए रासायनिक हमले की गंभीर दखल ली है और इसके लिए अस्साद राजवट पर कठोर कार्रवाई की माँग की है। फ़्रांस, अमरिका और ब्रिटन आने वाले समय में सीरियन राजवट को क्या शासन करना है, इस बारे में फैसला करेंगे, ऐसा दावा मैक्रॉन ने किया था। इस बात को एक दिन भी नहीं बीता है और अमरिका, ब्रिटन, फ्रांस के बीच सीरिया के बारे में चर्चा पूरी हुई है। इस चर्चा में सीरिया पर हमले का मुद्दा अग्रसर था, ऐसे स्पष्ट संकेत मिल रहे हैं। सऊदी के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान इन दिनों फ़्रांस के दौरे पर हैं। उनके साथ संयुक्त पत्रकार परिषद को संबोंधित करते समय, फ़्रांस के राष्ट्राध्यक्ष ने सीरियन राजवट के खिलाफ कठोर और संगठित रूप से कार्रवाई करने की आवश्यकता है, ऐसा स्पष्ट मत व्यक्त किया है।

इस वजह से सीरिया पर कार्रवाई में केवल अमरिका नहीं बल्कि फ़्रांस और ब्रिटन भी शामिल होंगे, ऐसा दिखाई दे रहा है। उसी समय इन तीन मित्र देशों के साथ साथ सऊदी भी सीरिया पर हमले के लिए उत्सुक है, ऐसा दिखाई दे रहा है। सऊदी के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने अपने मित्र देशों ने सीरिया पर हमला किया तो सऊदी भी उनके साथ होगा, ऐसा घोषित किया है। इस वजह से अमरिका, ब्रिटन, फ़्रांस और सऊदी अरेबिया का मोर्चा सीरियन राजवट को किसी भी वक्त लक्ष्य कर सकता है, ऐसा दिखाई दे रहा है। इसमें सऊदी अरेबिया के साथ सऊदी के खाड़ी के मित्र देश भी शामिल हो सकते हैं। इसमें संयुक्त अरब अमिरात, इजिप्त, कुवैत और बाहरिन यह देश भी शामिल हो सकते हैं। इस वजह से सीरिया पर इस लष्करी कार्रवाई की तीव्रता कई गुना बढ़ सकती है।

दौरान, सीरिया पर हमलों की संभावना बढने के दावे मीडिया की तरफ से किए जा रहे हैं। अमरिकी राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प, रक्षामंत्री जेम्स मैटिस ने अपने नियोजित दौरों को रद्द किए हैं, ऐसी खबर है।

यूरोकंट्रोल का इशारा

यूरोप के हवाई परिवहन का नियंत्रण करने वाली युरोकंट्रोल संस्था ने भूमध्य समुद्र से यात्रा करने वाले विमानों को सतर्कता का इशारा दिया है। अगले ७२ घंटों में सीरिया पर हवाई हमले हो सकते हैं। इस वजह से भूमध्य समुद्र के हवाई क्षेत्र से यात्रा करने वाले विमानों ने विशेष सावधानी बरतनी चाहिए, ऐसा इशारा यूरोकंट्रोल ने दिया है।

यूरोकंट्रोल की तरह अमरिका, ब्रिटन, फ़्रांस और जर्मनी इन देशों ने भी अपने यात्रियों का परिवहन करने वाली विमान कंपनियों को सीरियन हवाई सीमा से यात्रा करने के बारे में इशारे दिए थे। बुधवार को सिर्फ एक विमान ने सीरिया और लेबेनॉन की हवाई सीमा से यात्रा करने की जोखिम लेने की बात सामने आई है।

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