चीन की कंपनियों को लक्ष्य करते समय अमरिका मर्यादा ना लांघे

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तरबीजिंग – ‘चीन के व्यापार को लक्ष्य करते समय अमरिका मर्यादा ना लांघे| क्यों की चीन के साथ सहयोग करने से जैसे अमरिका को लाभ होगा, वैसे ही विवाद के कारण अमरिका का नुकसान भी होगा’, यह इशारा चीन के विदेशमंत्री ‘वैंग ई’ ने दिया है| पिछले हफ्ते में सायबर हमलों का खतरा रोकने के लिए अमरिकी राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प इन्होंने चीन की ‘हुवेई’ के साथ विदेशी दूरसंचार कंपनियों के विरोध में ‘नैशनल इमर्जन्सी’ घोषित की थी| इस पर चीन ने यह प्रतिक्रिया दर्ज की है|

अमरिकी विदेशमंत्री माईक पोम्पिओ के समेत फोनपर की बातचीत के दौरान चीन के विदेशमंत्री वँग ई इन्होंने अपनी नाराजगी व्यक्त की| चीन की हुवेई कंपनी को लक्ष्य करने के लिए अमरिका ने यह निर्णय किया है, यह आरोप भी चीन के विदेशमंत्री ने किया| अमरिकी बाजार में चीन की दूरसंचार कंननियों पर लगाई पाबंदी की गुंज चीन में सुनाई देगी और चीन भी उसे जवाब देगा, यह इशारा विदेशमंत्री वँग ने दिया| ‘चीन की कंपनियों पर कार्रवाई करते समय अमरिका मर्यादा ना लांघे’, यह इशारा भी वँग ने पोम्पिओ के साथ हुई बातचीत के दौरान दिया|

‘चीन-अमरिका सहयोग से दोनों देशों को लाभ ही हुआ है| इतिहास इसका गवाह है| उसी प्रकार से दोनों देशों के विवाद से हमेशा नुकसान ही हुआ है| इस वजह से सीर्फ सहयोग ही दोनों देशों के लिए उचित विकल्प साबित होता है’, ऐसा विदेशमंत्री वँग ने कहा| चीन और अमरिका के बीच सहयोग बढता रहा तो इससे क्षेत्रीय स्थिरता भी बनेगी, यह दावा चीन के विदेशमंत्री ने किया|

लेकिन, माहिती और दूरसंचार तकनीक क्षेत्र की कमजोरी का लाभ अमरिका के दुश्मन उठाएंगे, ऐसा अमरिकी राष्ट्राध्यक्ष ने कहा था| सायबर हमलें और आर्थिक एवं औद्योगिक क्षेत्र की संवेदनशील जानकारी का इस्तेमाल जासूसी के लिए होगा, यह दावा राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने पिछले सप्ताह में किया था| अमरिका की माहिती एवं तकनीक क्षेत्र की कंपनियों पर कब्जा करके इसका इस्तेमाल अमरिका की सुरक्षा के विरोध में करने की क्षमता दुश्मन प्राप्त कर रहे है, यह कहकर अमरिका की सुरक्षा के लिए राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प इन्होंने चीन के साथ करीबन दूरसंचार क्षेत्र की ७० विदेशी कंपनियों के विरोध में आपात्काल का ऐलान किया था|

इस दौरान, राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने ‘राष्ट्रीय आपात्काल’ का अध्यादेश और ‘ब्लैक लिस्ट’ जारी करके अपनी भूमिका और भी कडी की है| इस पर चीन से प्रतिक्रिया प्राप्त हो सकती है, यह संदेश चीन के विदेशमंत्री दे रहे है|

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