सीरिया में रशिया के अड्डे पर आतंकियों के ड्रोन्स एवं रॉकेट के हमलें

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तरदमास्कस – सीरिया की पश्‍चिमी सीमा पर ‘खेमिम’ हवाई अड्डा आतंकी हमलों का लक्ष्य हुआ है| पिछले चौबिस घंटों में सीरिया के आतंकियों ने रशियन हवाई अड्डे पर ड्रोन्स एवं रॉकेट हमलें किए| इन हमलों में चार लोग जख्मी हुए है और रशियन सेना ने छह ड्रोन्स कब्जे में किए है| इन हमलों के लिए सीरिया की ‘आईएस’ से जुडी आतंकी संगठन जिम्मेदार होने की जानकारी सामने आ रही है|

रशियन रक्षा मंत्रालय ने जारी की हुई जानकारी में रविवार और सोमवार ऐसे लगातार दो दिन खेमिम हवाई अड्डे पर आतंकी हमलें हुए है| आतंकियों ने रविवार के दिन खेमिम हवाई अड्डे पर किए ड्रोन हमले में दो लोग मारे गए| इस जगह पर तैनात रशिया की विमानविरोधी तोंपों ने की कार्रवाई में हवाई अड्डे की दिशा में आनेवाले छह ड्रोन्स गिराए|

ड्रोन्स के इन हमलों के कुछ घंटे बाद सोमवार के दिन दुबारा रशियन हवाई अड्डे पर आतंकियों ने ‘ग्रैड’ रॉकेटस् छोडे| इन हमलों में हवाई अड्डे पर भारी नुकसान होने की बात कही जा रही है| हवाई अड्डे की सुरक्षा दिवार लांघने से पहले ही यह रॉकेटस् सुरक्षित जगहों पर गिराए गए| सीरिया की ‘रौझ द बिलिवर्स’ इस आतंकी संगठन ने इन दोनों हमलों की जिम्मेदारी स्वीकारी है|

पिछले सप्ताह में ८ अगस्त के दिन आतंकियों ने इसी लष्करी अड्डे पर चार रॉकेट हमलें किए थे| इससे दो दिन पहले भी आतंकियों ने वर्णित अड्डे पर बारा से भी अधिक रॉकेटस् छोडे थे| इन दोनों हमलों में जीवित और वित्तीय हानि नही हुई थी| लेकिन, पिछले पंधरह दिनों से रशिया के कब्जे में होनेवाले खेमिम हवाई अड्डे पर आतंकियों के हमलों में बढोतरी हुई है| इससे पहले भी ‘आईएस’ के आतंकियों ने इस हवाई अड्डे पर ड्रोन्स हमलें किए थे| इन हमलों में हवाई अड्डे पर तैनात रशियन विमान का नुकसान हुआ था| इसके बाद रशिया ने सीरिया में आतकी संगठनों के ठिकानों पर शुरू कार्रवाई तेज की थी|

सीरिया की पश्‍चिमी तट पर लताकिया प्रांत के खेमिम यह अहम अड्डे के तौर पर जाना जाता है| इस हवाई अड्डे पर रशिया की ‘सू-२४’, ‘सू-२५’, ‘सू-३४’ इन लडाकू विमानों के साथ ‘एमआई-८’, ‘एमआई-२४’ हमलावर लडाकू हेलिकॉप्टर्स तैनात है| साथ ही लष्करी यातायात के लिए ‘आईएल-७६’ और ‘एंटोनोव-१२४’ विमान भी इस अड्डे पर रखे गए है| इसके अलावा इस लष्करी अड्डे पर टैंक, लष्करी गाडियां और तोंप भी तैनात है|

इस दौरान सीरिया में आतंकविरोधी संघर्ष के लिए रशिया का यह हवाई अड्डा सबसे अहम समझा जा रहा है| इस अड्डे पर कब्जा करने के लिए ईरान ने भी सीरिया के अस्साद की हुकूमत के साथ बातचीत शुरू की थी|

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