अफ़गानिस्तान में तालिबान के ‘न्याय’ और सज़ा को लागू करेंगे – तालिबानी नेता नुरूद्दीन तुराबी का ऐलान

afghan-taliban-punishments-law-1काबुल – ‘कानून के मुद्दे पर अन्य लोग हमें कुछ कहने की कोशिश ना करें। हम अपने तरीके से कानून लागू करेंगे। अफ़गानिस्तान की सुरक्षा के लिए जान से मारना या हाथ तोड़ना आवश्‍यक है और ऐसी सज़ा फिर से शुरू की जाएगी’, यह ऐलान तालिबान के वरिष्ठ नेता मुल्ला नरुद्दीन तुराबी ने किया। लेकिन, यह सज़ा सार्वजनिक पद्धति से नहीं दी जाएगी, ऐसा कहकर यह तालिबान में हुआ बड़ा बदलाव होने का दावा तुराबी ने किया। संयुक्त राष्ट्रसंघ और अंतरराष्ट्रीय रंगमंच पर तालिबान का पक्ष रखनेवालों के लिए तुराबी का यह ऐलान यानी करारा तमाचा साबित होता है। तालिबान में बदलाव होने के दावे इससे पूरी तरह से खारिज हुए हैं।

afghan-taliban-punishments-law-3मुल्ला ओमर, मुल्ला बरादर की तरह तालिबान का सह-संस्थापक रहे तुराबी ने तालिबान की न्याय पद्धति पर हो रही आलोचना ठुकराई। ‘तालिबान ने अन्य देशों के कानून और न्यायव्यवस्था पर कभी आलोचना नहीं की है। इस वजह से अंतरराष्ट्रीय समुदाय अफ़गानिस्तान की न्याय व्यवस्था में अपनी टांग ना अड़ाएँ’, यह इशारा तुराबी ने दिया। तालिबान की नई न्याय व्यवस्था में महिला न्यायाधीश को स्थान दिया जा सकता है, लेकिन, सज़ाएँ पुरानी ही रहेंगी, यह तुराबी ने स्पष्ट किया।

दो दशक पहले तालिबान ने अफ़गान नागरिकों को भयंकर तरीके से दी हुई सजाएँ पूरे विश्‍व ने देखी थीं। हत्या का आरोप वाले लोगों को फुटबॉल स्टेडियम, चौक में खड़ा करके उनके सिर में गोली दागना, छोटी-बड़ी चोरी के अपराध के लिए चोर के हाथ-पैर तोड़ने की सज़ाएं भी तालिबान ने दी थीं। ऐसी सज़ा फिर से लागू होगी, यह तुराबी ने कहा। लेकिन, ऐसी सजा पहले की तरह भरे स्टेडियम में नहीं दी जाएं, इस पर विचार हो सकता है, ऐसा कहकर तुराबी ने तालिबान में हुआ यह बड़ा बदलाव होने का दावा किया।

afghan-taliban-punishments-law-2अफ़गान नागरिकों को इसके आगे टीवी, मोबाईल रखने की अनुमति होगी, क्योंकि वह समय की माँग होने का बयान तुराबी ने किया। ‘विश्‍वभर में करोड़ों लोगों तक संदेश पहुँचाने के लिए मोबाईल अहम भूमिका निभाता है। लेकिन, यदि किसी ने सज़ा को सार्वजनिक किया या उसके वीडियो बनाकर सार्वजनिक किए तो तालिबन के नियम का भंग करनेवालों के लिए उचित संदेश दिया जाएगा’, यह इशारा तुराबी ने दिया है।

तुराबी के इस ऐलान ने तालिबान में बदलाव होने के दावे करनेवालों को मुँह के बल गिराया है। ऐसी क्रूर हुकूमत का समर्थन करना अब पाकिस्तान और चीन के लिए भी आसान नहीं रहा। प्रतिदिन नए ऐलान करके तालिबान अपने समर्थकों की मुश्‍किलें बढ़ा रही है क्योंकि, इससे तालिबान का क्रूर चेहरा विश्‍व के सामने आ रहा है। इसी के साथ विश्‍वभर में तालिबान और तालिबान का समर्थन करनेवालों के खिलाफ नफरत बड़ी तीव्रता से फैल रही है।

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