सऊदी अरेबिया और संयुक्त अरब अमीरात की तरफ से ईरान की राजवट बदलने की माँग

न्यूयॉर्क: ‘बाहर से कितना भी दबाव डालें, ईरान की राजवट की भूमिका में परिवर्तन नहीं हुआ है। तुम्हे आवश्यक परिवर्तन चाहिए तो ईरान की राजवट पर अंतर्गत दबाव डालना आवश्यक है। राजवट बदले बिना ईरान नहीं बदलने वाला है’, ऐसा सऊदी अरेबिया के विदेश मंत्री ‘अदेल अल-जुबैर’ ने कहा है। संयुक्त अरब अमीरात ने भी सऊदी की माँग पर जोर दिया है।

सऊदी अरेबिया, संयुक्त अरब, अमीरात, ईरान, राजवट, बदलने, माँग, न्यूयॉर्कन्यूयॉर्क में आयोजित ईरान विषयक बैठक में बोलते समय सऊदी और युएएई ने ईरान के बारे में अपने स्पष्ट मत रखे। ट्रम्प प्रशासन ने ईरान के परमाणु अनुबंध को तोड़कर ईरान पर कठोर प्रतिबन्ध लगाए हैं। इन प्रतिबंधों के परिणाम ईरान की अर्थव्यवस्था पर होते दिखाई दे रहे हैं। आने वाले कुछ हफ़्तों के बाद इन प्रतिबंधों का शिकंजा अधिक मजबूती से कसा जाएगा, ऐसी चेतावनी ट्रम्प ने दी है।

ट्रम्प की इस भूमिका का इस्राइल और खाड़ी देशों ने स्वागत किया था। लेकिन सिर्फ प्रतिबन्ध लगाकर ईरान पर दबाव नहीं बढने वाला, ऐसा दावा अल-जुबैर ने किया है। प्रतिबंधों के अलावा ईरान की राजवट पर अंतर्गत दबाव बढाने की आवश्यकता है, ऐसा अल-जुबैर और युएई के राजदूत ‘युसूफ अल-ओतैबा’ ने कहा है। ईरान की राजवट बदलने के बाद ही ईरान की भूमिका में बदलाव होगा और उसके बाद ही इस देश के साथ चर्चा हो सकती है। उसके पहले अरब खाड़ी देशों को ख़त्म करने की धमकी देने वाले देशों के साथ चर्चा नहीं हो सकती है, ऐसा जुबैर ने कहा है।

दौरान, अमरिका और मित्र देश ईरान की राजवट गिराने की कोशिश कर रहे हैं, ऐसा आरोप ईरान ने किया था। पिछले कुछ महीनों से ईरान में सरकार के खिलाफ हुए प्रदर्शनों के पीछे अमरिका और अमरिका के मित्र देश होने का आरोप ईरान ने किया था। लेकिन ईरानी राजवट की आर्थिक गैर जिम्मेदाराना स्वभाव की वजह से ईरानी जनता का उद्रेक हुआ, ऐसा कहकर अमरिका ने अपने ऊपर लगाए आरोपों का खंडन किया है।

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