बेलारूस के प्रदर्शनकारियों ने दिया देशव्यापी हड़ताल का इशारा

मिन्स्क – बेलारूस के राष्ट्राध्यक्ष अलेक्ज़ांडर लुकाशेन्को २५ अक्तुबर तक इस्तीफा दे, वरना देशव्यापी अनिश्‍चितकालीन हड़ताल करने का इशारा प्रदर्शनकारियों ने दिया है। बीते दो महीनों से अधिक समय से बेलारूस के राष्ट्राध्यक्ष लुकाशेन्को के विरोध में जनतांत्रिक प्रदर्शन हो रहे हैं। लेकिन, उन्होंने पद त्यागने से इन्कार करने पर प्रदर्शनकारियों ने अपनी आक्रामकता बढ़ाने के संकेत दिए हैं। रविवार के दिन राजधानी मिन्स्क के साथ देश के अलग अलग हिस्सों में हुए प्रदर्शनों में ५० हज़ार से अधिक लोग रास्तों पर उतरे थे। इनके विरोध में सुरक्षा यंत्रणा ने की कार्रवाई के दौरान कुल २८० लोगों को गिरफ्तार किया गया है, यह जानकारी सूत्रों ने साझा की।

९ अगस्त को बेलारूस में राष्ट्राध्यक्ष पद का चुनाव हुए थे। बीते २६ वर्षों से बेलारूस का नेतृत्व कर रहे लुकाशेन्को ने इस चुनाव में ८० प्रतिशत से अधिक वोट प्राप्त होने का दावा किया था। उनके प्रतिद्वंद्वि स्वेतलाना तिखानोवस्काया को १० प्रतिशत से अधिक वोट प्राप्त होने की बात कही गई थी। लेकिन, इस चुनाव में बड़ी धांदली होने का आरोप सियासी दल एवं अंतरराष्ट्रीय समुदाय कर रहे हैं और लुकाशेन्को के विरोध में व्यापक प्रदर्शन शुरू हुए हैं। दो महीनों से अधिक समय से चल रहे इन प्रदर्शनों को अमरीका के साथ यूरोपिय देशों ने समर्थन दिया है। तभी रशिया ने लुकाशेन्को को समर्थन प्रदान किया है। लेकिन, रशिया की सहायता के बावजूद उन्हें प्रदर्शन रोकने में अभी सफलता हासिल नहीं हुई है।

लगातार दो महीनों से शुरू इन प्रदर्शनों की पृष्ठभूमि पर लुकाशेन्को पर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर दबाव भी बढ़ रहा है। अमरीका और यूरोपिय देशों ने लुकाशेन्को को बेलारूस के राष्ट्राध्यक्ष स्वीकारने से इन्कार किया है। अमरीका ने बेलारूस के वरिष्ठ अधिकारियों पर प्रतिबंध भी घोषित किए हैं। ब्रिटेन के साथ आठ यूरोपिय देशों ने बेलारूस से अपने राजदूतों को वापिस बुलाया है। बीते सप्ताह में ही यूरोपिय महासंघ की बैठक में बेलारूस पर प्रतिबंध लगाने का निर्णय किया गया। इस पृष्ठभूमि पर रविवार के दिन हुए व्यापक प्रदर्शन एवं विपक्ष के नेताओं ने लुकाशेन्को को दिया हुआ सख्त इशारा ध्यान आकर्षित कर रहा है।

बेलारूस की सरकार ने बीते सप्ताह में सुरक्षा यंत्रणा को प्रदर्शनकारियों को गोलीबारी करने का अधिकार होने का बयान करके धमकाया था। लेकिन, इस धमकी को अनदेखा करके रविवार के दिन बेलारूस की जनता बड़ी संख्या में इन प्रदर्शनों में शामिल हुई। राजधानी मिन्स्क में ३० हजार से अधिक नागरिक प्रदर्शन कर रहे थे। इन प्रदर्शनकारियों पर सुरक्षा यंत्रणा ने जोरदार कार्रवाई की। मिन्स्क के साथ देश के अन्य हिस्सों में कुल २८० प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया गया। इस कार्रवाई के बाद बीते दो महीनों में गिरफ्तार किए गए प्रदर्शनकारियों की संख्या १३ हज़ार तक जा पहुँचने की बात कही जा रही है। रविवार के दिन इन प्रदर्शनों को प्राप्त हुआ समर्थन दो महीने बाद भी राष्ट्राध्यक्ष लुकाशेन्को के विरोध में असंतोष बरकरार होने की बात दिखा रहा है।

इसी पृष्ठभूमि पर बेलारूस के प्रदर्शनकारियों ने अपनी आक्रामकता बढ़ाने के संकेत दिए हैं। लुकाशेन्को ने २५ अक्तुबर तक राष्ट्राध्यक्ष पद का इस्तीफा नहीं दिया तो अनिश्‍चितकालीन देशव्यापी हड़ताल शुरू करने का इशारा विपक्षी नेता स्वेतलाना तिखानोवस्काया ने दिया है। इस वजह से नज़दिकी दिनों में बेलारूस के प्रदर्शन अधिक तीव्र होने के संकेत प्राप्त हो रहे हैं।

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