नागरिकता संशोधन बिल विधेयक मंजूर होने पर प्रधानमंत्री ने किया स्वागत

नई दिल्ली – नागरिकता संशोधन बिल लोकसभा में मंजूर होने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस निर्णय का स्वागत किया है| यह विधेयक भारत की समावेशक परंपरा और मानवी मुल्यों से मेल करनेवाला होने का दावा प्रधानमंत्री ने किया| साथ ही यह विधेयक रखने पर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शहा का प्रधानमंत्री मोदी ने स्वागत किया|

नागरिकता संशोधन बिल, सोमवार के दिन लोकसभा में मंजूर किया गया| ३११ विरुद्ध ८० मतों से यह विधेयक मंजूर हुआ| इससे पहले इस विधेयक पर सभागृह में लंबी चर्चा हुई| केंद्रीय गृहमंत्री ने इस विधेयक पर रखे गए आपत्ति के मुद्दों का सटिकता के साथ जवाब दिया, यह कहकर प्रधानमंत्री ने केंद्रीय गृहमंत्री की सराहना की| यह विधेयक भारत की हजारों वर्षों की परंपरा से संगत होने का दावा भी प्रधानमंत्री ने किया|

पाकिस्तान, बांगलादेश और अफगानिस्तान में धार्मिक अल्पसंख्यांक बने और इन देशों में उत्पीडन एवं धार्मिक भेद का शिकार साबित हुए हिंदू, सिख, बौद्ध, पारशी एवं ख्रिस्तधर्मियों ने भारत में पनाह ली है| अपनी धार्मिक पहचान बरकरार रखने के लिए इन धर्मों के लोगों ने भारत में पनाह ली है और नागरिकता संशोधन बिल की वजह से उन्हें भारत की नागरिकता देना मुमकिन होगा| इस ओर ध्यान आकर्षित करके केंद्र सरकार ने इस विधेयक का समर्थन किया था|

पर, संविधान के अनुसार धार्मिक आधार पर किसो को भी नागरिकता देना मुमकिन नही, यह बात इस विधेयक का विरोध करनेवाले कह रहे थे| नागरिकता संशोधन बिल के जरिए विशिष्ट धर्म को पुरे एहसास के साथ बाजू में रखा गया है और यह बात संविधान के बुनियादी तत्वों के विरोध में जानेवाली है, यह आपत्ति विरोधकों ने रखी थी| पर, यह विधेयक पाकिस्तान, बांगलादेश और अफगानिस्तान से भारत पहुंचे हिंदू, सिख, बौद्ध, पारसी एवं ख्रिस्तधर्मियों के साथ न्याय करनेवाला है, फिर भी किसी के भी विरोध में नही है, इस ओर केंद्रीय गृहमंत्री ने ध्यान आकर्षित किया|

घुसपैठी और वैध कानुनी मार्ग से नागरिकता मांगनेवाले शरणार्थियों में फरक करना होगा| भारत सरकार यह फरक कर रही है| देश की साधन संपत्ति की लूट करने के लिए पहुंच रहे घुसपैठीयों को भारत कभी भी नागरिकता प्रदान नही करेगा| पर, पाकिस्तान, बांगलादेश और अफगानिस्तान से अपना धर्म और सम्मान बचाने के लिए पहुंचे शरणार्थियों को नागरिकता प्रदान करना भारत का कर्तव्य ही बनता है, यह दावा केंद्रीय गृहमंत्री ने किया|

देश में अवैध मार्ग से घुसपैठ करनेवाले रोहिंग्याओं को केंद्र सरकार कभी भी नागरिरकता प्रदान नही करेगी| घुसपैठियों की पहचान करके उन्हें देश के बाहर खदेड ने के लिएनैशनल रजिस्टर ऑफ सिटिझन्स’ (एनआरसी) की प्रक्रिया शुरू की जाएगी, यह भी केंद्रीय गृहमंत्री अमित शहा ने इस दौरान डटकर कहा|

इसी दौरान, यह विधेयक लोकसभा में मंजूर होने के बाद आसाम में कुछ जगहों पर आगजनी शुरू हुई| साथ ही इस राज्य की कुछ संगठनों ने बंद का ऐलान किया है| इसके पिछे उल्फा जैसी आतंकी संगठन होने के संकेत प्राप्त हो रहे है| इसके अलावा अन्य कुछ राज्यों में लोकसभा में यह संशोधन बिल मंजूर होने पर जल्लोष और स्वागत किया जा रहा है|

Leave a Reply

Your email address will not be published.