मुद्राकोष के शर्थों के कारण पाकिस्तान आगे चलकर व्हेनेजुएला होगा – पाकिस्तानी विश्‍लेषकों का दावा

इस्लामाबाद – अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष से पाकिस्तान को छह अरब डॉलर्स कर्ज की प्राप्ती हो रही है| लेकिन, यह कर्ज प्राप्त करने के लिए पाकिस्तान को मुद्राकोष ने रखी शर्थों का स्वीकार करना होगा| इस वजह से पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था ढह जाएगी, यह चिंता इस देश के माध्यम व्यक्त कर रहे है| इस कर्ज का समाचार प्राप्त होने के दोन दिन बाद ही पाकिस्तान के चलन का मुल्य में ६.५ रुपयों की गिरावट हुई| वर्तमान में एक डॉलर के लिए १४८ पाकिस्तानी रुपए चुकाने पड रहे है| जल्द ही पाकिस्तानी रुपया डॉलर की तुलना में २०० तक गिरेगा और इससे पाकिस्तान के हालाथ व्हेनेजुएला की तरह होंगे,यह चिंता कुछ विश्‍लेषक व्यक्त करने लगे है|

कुछ भी हो फिर भी मुद्राकोष के सामने हम कर्ज मांगने नही जाएंगे, ऐसा इम्रान खान इन्होंने अपनी प्रचार सभाओं में डटकर कहा था| मुद्राकोष के कर्ज की वजह से देश आर्थिक संकट से बाहर निकलने के बजाए और भी फंस रहा है यह तर्क इम्रान खान इन्होंने उस समय रखा था| यही इम्रान खान अब पाकिस्तान के प्रधानमंत्री होने के बाद मुद्राकोष से कर्ज प्राप्त करने के लिए बडी कोशिश कर रहे है| इसके लिए उन्होंने मुद्राकोष के सामने रभी सभी शर्थ स्वीकारी है| इस वजह से अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष ने पाकिस्तान को करीबन छह अरब डॉलर्स की कर्ज सहायता करने का ऐलान किया| लेकिन, इस कर्ज के बदले में पाकिस्तान को अपने रुपये पर लगाया नियंत्रण हटाना होगा| अगले दौर में पाकिस्तान के रुपए की किमत बाजार तय करेगा और यह काफी बडी चिंता का विषय होने की बात इस देश के विश्‍लेषक कह रहे है|

फिलहाल पाकिस्तानी रुपये की बडी गिरावट हुई है और इतिहास में अपने चलन की इतनी बडी गिरावट देखी नही थी, ऐसा इस देश के अर्थशास्त्री कर रहे है| वर्तमान में एक डॉलर प्राप्त करने के लिए १४८ पाकिस्तानी रुपये चुकाने पड रहे है| बुधवार शाम तक रुपये का यह दर १४१.३९ था| गुरूवार के दिन पाकिस्तान के शेअर बाजार में शुरूआती दौर में ही गिरावट शुरू हुई| इसी बीच रुपया १४८ के स्तर तक पहुंचा| अभी तक मुद्राकोष ने लगाई शर्थों के परिणाम दिखाई देना शुरू होना है| ऐसे में यह तो सीर्फ शुरूआत है, ऐसा पाकिस्तान के अर्थशास्त्री एवं विश्‍लेषक कह रहे है| अगले दौर में अमरिकी डॉलर के लिए २०० पाकिस्तानी रुपये चुकाने का प्रसंग सामने आ सकता है, इसका कडा एहसास इन विश्‍लेषकों ने दिलाया है|

अलग शब्दों में पाकिस्तान में बडी मात्रा में महंगाई में बढोतरी होगी और वर्तमान की महंगाई से परेशान हुई जनता को अगले दिनों में काफी खराब स्थिति का सामना करना हो सकता है, ऐसा इशारा विश्‍लेषक दे रहे है| पाकिस्तानी रुपये की हो रही गिरावट रोकने के लिए प्रधानमंत्री इम्रान खान इन्होंने तुरंत प्रावधान करके इसपर अमल करने के लिए एक समिती का गठन किया है| फिलहाल यह समिती काम करेगी|

लेकिन, जैसे ही मुद्राकोष के शर्थों का अमल शुरू होता है तो पाकिस्तान के प्रधानमंत्री भी रुपये की यह गिरावट रोक नही सकेंगे| क्यों की ऐसा करना यानी मुद्राकोष के साथ किए समझौते का भंग साबित होगा, इस पर विश्‍लेषक ध्यान आकर्षित कर रहे है| कर्ज प्राप्त करने के लिए अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष की शर्थों का स्वीकार करके इम्रान खान इन्होंने पाकिस्तान का भविष्य गिरवी रखा है, ऐसी कडी आलोचना विपक्षी नेता कर रहे है|

मुद्राकोष ने रखी शर्थों की वजह से पाकिस्तानी अर्थव्यवस्था की स्थिति भीषण होगी, यह बात स्वीकार करने के बावजूद भी कुछ विश्‍लेषक इम्रान खान ने किए निर्णय का समर्थन कर रहे है| पाकिस्तानी अर्थव्यवस्था का पतन रोकने के लिए प्रधानमंत्री इम्रान खान इन्हें यह एक अप्रिय निर्णय करना पडा, ऐसा इन विश्‍लेषकों का कहना है| लेकिन, अभी की मौत कुछ महीने आगे ढकलकर इम्रान खान इन्होंने पाकिस्तानी अर्थव्यवस्था के सामने खडी चुनौती और भी भंयकर की है, यह आलोचना हो रही है| महंगाई ऐसीही बढती है तो पाकिस्तान का व्हेनेजएला बन जाएगा, यह इशारा कुछ लोगों ने दिया है और इसके लिए पाकिस्तानी जनता तैयार रहे, यह इशारा भी दिया है|

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