पाकिस्तान के ‘सेकंड स्ट्राईक’ का दावा झूठा

इस्लामाबाद, दि. १० : सोमवार के दिन पाकिस्तान ने, पनडुब्बी से हमला करनेवाले ‘बाबर-३’ इस क्रूझ प्रक्षेपास्त्र का परीक्षण किया| परमाणुविस्फोटक वहन कर ले जाने की क्षमता रहनेवाले इस प्रक्षेपास्त्र का परीक्षण सफल हुआ, ऐसा दावा पाकिस्तान कर रहा है| पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने इसके लिए वैज्ञानिकों को बधाइयाँ भी दीं| वहीं, पश्‍चिमी अखबारों ने भी ‘बाबर-३’ की दख़ल लेते हुए, इससे भारत और पाकिस्तान के बीच जंग भडकेगी, ऐसी डरावनी संभावना भी जतायी| लेकिन इस प्रक्षेपास्त्र के परीक्षण का पाकिस्तान ने प्रकाशित किया हुआ व्हिडिओ जाली है, ऐसे सामने आया है|

 ‘सेकंड स्ट्राईक’ हिंद महासागर स्थित एक अज्ञात जगह से ‘बाबर-३’ का परीक्षण किया गया, ऐसी जानकारी पाकिस्तानी सेना ने दी| पनडुब्बी से नहीं, बल्कि समुंदर के एक ‘प्लॅटफॉर्म’ से दागे गये इस प्रक्षेपास्त्र ने लगभग ४५० किलोमीटर की दूरी पर के लक्ष्य को बराबर निशाना बनाया, ऐसा दावा पाकिस्तान की सेना ने किया| इतना ही नहीं, बल्कि ‘इससे पाकिस्तान को ‘सेंकड स्ट्राईक’ की क्षमता प्राप्त हुई, जिससे भारत के परमाणु हमले का पाकिस्तान ताकत से सामना करेगा’ ऐसी गर्जना पाकिस्तान से हो रही थी| परमाणु हमला होने के बाद परमाणु प्रतिहमले की क्षमता रहनेवाले कुछ देशों में हम भी शामिल हुए, ऐसा कहते हुए पाकिस्तान में खुशी मनायी जा रही थी|

पाकिस्तान के ‘इंटर सर्व्हिस पब्लिक रिलेशन्स’ (आयएसपीआर) ने, यह सफलता यानी पाकिस्तान की ज़िम्मेदार परमाणु नीति का महत्त्वपूर्ण कदम है, ऐसा दावा किया| वहीं, पाकिस्तान के भारतविरोधी विशेषज्ञों ने, ‘बाबर-३’ की सफलता से अपने देश ने भारत पर मात की होकर, इसके आगे भारत कभी भी पाकिस्तान पर परमाणु हमला नहीं कर सकता, ऐसीं डींगें हाँकना शुरू किया था| लेकिन ‘आयएसपीआर’ ने ‘बाबर-३’ के प्रकाशित किये व्हिडिओ पर शक जताया जा रहा है| यह व्हिडिओ जाली है, ऐसे भारतीय निरीक्षकों का कहना है| तीन-चार अलग प्रक्षेपास्त्रों के व्हिडिओज् एकत्रित कर यह व्हिडिओ तैयार किया गया है| इसी कारण, यह प्रक्षेपास्त्र का रंग इस व्हिडिओ में बदलते नजर आ रहा है| इतना ही नहीं, बल्कि इस प्रक्षेपास्त्र की रफ़्तार भी ‘बाबर-३’ की नियोजित रफ़्तार से अधिक है, यह बात भी इस व्हिडिओ की सच्चाई पर सवाल उपस्थित करने के लिए काफ़ी है, ऐसा भारतीय निरीक्षकों का कहना है|

इससे पहले भी पाकिस्तान ने अपनी सेना की ताकत के बारे में कई बार झूठे दावे किये थे, यह सामने आया है| कुछ सप्ताह पहले, ‘पाकिस्तान के सागरी क्षेत्र में दाखिल हुई, भारतीय नौसेना की पनडुब्बी को पाकिस्तानी नौसेना ने लौट जाने के लिए मजबूर किया’ ऐसा दावा पाकिस्तान ने किया था| इससे पनडुब्बीविरोधी जंग के लिये अपनी नौसेना की क्षमता सिद्ध हुई है, ऐसा कहते हुए पाकिस्तान ने खुद ही अपनी पीठ थपथपायी थी| लेकिन यह दावा भी झूठा है, ऐसी खबर सामने आयी है| पाकिस्तानी नौसेना की क्षमता को देखते हुए, पनडुब्बियों को भेदने की क्षमता इस नौसेना के पास हो ही नहीं सकती, ऐसा दावा तज्ज्ञ कर रहे हैं|

भारतीय नौसेनाप्रमुख ने भी, ‘पाकिस्तान का यह दावा हास्यास्पद था’ ऐसे कहा था| लेकिन अपने लोगों को भ्रम में रखने के लिए पाकिस्तान की सेना और राजकीय लीडर्स ऐसे दावे करते रहते हैं| भारत के ‘अग्नी-५’ और ‘अग्नी-४’ इस आंतरखंडीय प्रक्षेपास्त्र के सफल परीक्षण के बाद भारत को जवाब देनेवाला परीक्षण करना, पाकिस्तान की सेना के लिए आवश्यक बन गया था| इसी कारण, ‘बाबर-३’ के बारे में झूठे दावे ‘आयएसपीआर’ ने किये, ऐसी गहरी संभावना इससे सामने आ रही है|

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