2021-22 में विकासदर 9.2 प्रतिशत तक पहुँचेगी – आर्थिक सर्वे रिपोर्ट में दावा

नवी दिल्ली – सोमवार को केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारामन ने लोकसभा में ‘आर्थिक सर्वे रिपोर्ट-2022’ प्रस्तुत की। उसमें 2021-22 इस वर्ष में भारत की विकास दर 9.2 प्रतिशत रहेगी, ऐसा विश्वास ज़ाहिर किया गया है। वहीं, 2022-23 इस साल में विकास दर आठ से साढ़ेआठ प्रतिशत रहेगी, ऐसा अनुमान भी इसमें जताया गया है। पिछले साल के अंत में भारत के फॉरेन रिजर्व लगभग 634 अरब डॉलर्स पर पहुंचे होने की जानकारी रिपोर्ट में दी गई है। उस का हवाला देकर भविष्य में आने वाले संकटों का मुकाबला करने के लिए भारतीय अर्थव्यवस्था सुसज्जित हो रही है, ऐसा जिक्र इस सर्वे में किया गया है।

Economic-Survey-Reportदेश का बजट प्रस्तुत करने से पहले, आर्थिक स्थिति के ‘रिपोर्ट कार्ड’ के रूप में जानी जानेवाली ‘आर्थिक सर्वे रिपोर्ट-2022’ सोमवार को प्रस्तुत की गई। इसमें कुछ उल्लेखनीय बातें दर्ज कीं गईं। इनमें आर्थिक विकास दर के बारे में किए गए दावे देश के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण साबित होते हैं। कोरोना के संकट को पीछे छोड़कर भारतीय अर्थव्यवस्था दमदार प्रगति करेगी ऐसे स्पष्ट संकेत मिल रहे हैं, ऐसा इस रिपोर्ट में नमूद किया गया है। इस साल के मार्च महीने में खत्म होनेवाले विद्यमान आर्थिक वर्ष में यानी 2021-22 इस आर्थिक वर्ष में देश की विकास दर 9.2 प्रतिशत इतनी होगी। यह दुनिया की सर्वाधिक विकास दर साबित हो रही होकर, राष्ट्रपति ने अपने अभिभाषण में भी इसका हवाला दिया था।

वहीं, 2022-23 इस आर्थिक वर्ष में देश 8 से 8.5 प्रतिशत इतनी विकास दर से प्रगति करेगा, ऐसा इस आर्थिक सर्वे रिपोर्ट में स्पष्ट किया गया है। वर्ल्ड बैंक, अन्तर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष और एशियन डेवलपमेंट बैंक ने दी रिपोर्ट में यह निष्कर्ष दर्ज किया गया है कि 2021 से 2024 इस दौर में भारत यह दुनिया की सर्वाधिक गति से बढ़नेवाली अर्थव्यवस्था होगी। लेकिन भारत ने सन 2025 तक सामने रखा हुआ पाँच ट्रिलियन डॉलर्स की अर्थव्यवस्था का ध्येय अगर हासिल करना है, तो इस आर्थिक वर्ष में बुनियादी सुविधाओं पर 1.4 ट्रिलियन डॉलर्स इतना निवेश करना पड़ेगा, ऐसा भी इस आर्थिक सर्वे रिपोर्ट में जताया गया है।

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