पूर्व विदेशमंत्री माईक पोम्पिओ ने की अमरीका के पाखंड़ी उदारवादियों की आलोचना

वॉशिंग्टन – ‘पाखंड़ी रवैया, बहु संस्कृति के मुद्दे समेत सभी विवाद ही अमरीका के अस्तित्व की पूरी पहचान नहीं है। ऐसे सभी मुद्दे अमरीका की नींव खोखली करनेवाले हैं। इस वजह से अमरीका कमजोर हो सकती है, इस बात की कल्पना रखनेवाले शत्रु इसका लाभ उठाकर देश में अलगाववाद को बढ़ावा देंगे’, ऐसी आलोचना अमरीका के पूर्व विदेशमंत्री माईक पोम्पिओ ने की है। पोम्पिओ ने कुछ दिन पहले ही अमरीका के प्रसार माध्यम और सोशल मीड़िया को कटघरे में खड़ा करने की बात सामने आयी थी।

राष्ट्राध्यक्ष पद के बीते वर्ष हुए चुनावों में डेमोक्रैट्स पार्टी के ज्यो बायडेन को जीत हासिल हुई हैं और संसद के निचले सदन में बढ़त बरकरार रखने में ही यह पार्टी सफल हुई है। बीते कुछ वर्षों के दौरान इस पार्टी में वामपंथी एवं साम्यवाद की विचारधारा की नीति का पुरस्कार करनेवालों की संख्या बढ़ने की बात सामने आयी है। अमरीका में कृष्णवर्णियों पर होनेवाली कार्रवाई, शरणार्थियों के झुंड़, हथियार रखने का अधिकार (गन राईट्स), पर्यावरण, समानता जैसे मुद्दों पर यह गुट अतिवादी भूमिका अपना रहे हैं।

इस पृष्ठभूमि पर पोम्पिओ ने दिया इशारा ध्यान आकर्षित कर रहा है। ‘सेन्सॉरशिप, पाखंड़ी रवैया, अन्य लोगों की सियासी विचारधारा सुधारने की या उसके लिए दबाव बढ़ाने की कोशिश जैसे मुद्दे भी एक ही दिशा में जानेवाले हैं। यह दिशा एकाधिकार के हुकूमत की है और यह नैतिक प्रामाणिकता के पीछे छुपी है’, यह दावा भी पूर्व विदेशमंत्री ने किया।

रिपब्लिकन पार्टी की प्रमुख नेता निक्की हैले ने भी बीते महीने में ही अमरीका में विचारधारा में हो रहे बदलाव की ओर ध्यान आकर्षित किया था। ‘ज्यो बायडेन ने राष्ट्राध्यक्ष पद का कार्यभार संभालने के बाद अमरीका सामाजिक समस्याओं का कथित भान रखनेवाले वामपंथी गुट के हाथों में पड़ेगी। यह पूरी अमरीका के लिए चिंता की बात साबित होगी’, ऐसा इशारा हैले ने दिया था। अमरीका की राजनीतिक विचारधारा के मुख्य प्रवाह में अब समाजवाद शामिल हुआ है, यह चेतावनी भी उन्होंने दी थी।

Leave a Reply

Your email address will not be published.