कोरोनावायरस का सामना करने के लिए रक्षादल की सिद्धता              

नयी दिल्ली – देश पर आये कोरोनावायरस के संकट का सामना करने के लिए, रक्षादल को दोगुना काम करने का संदेश रक्षामंत्री राजनाथ सिंग ने दिया है। बुधवार को रक्षामंत्री ने तीनों दलों के प्रमुखों की और रक्षादलप्रमुख की व्हिडीओ कॉन्फरन्स के माध्यम से बैठक संबोधित की। इस समय रक्षामंत्री ने रक्षादल की सिद्धता का ज़ायज़ा लिया। इस भयंकर संक्रमण के विरोध में लड़ने की तैयारी रक्षा दलों ने की है। कोरोनावायरस के मरीज़ों के ईलाज़ के लिए लष्कर ने ९,००० बेड्स के २८ अस्पताल सुसज्जित कर रखे हैं।

साथ ही, ८,५०० से अधिक डॉक्टर्स और वैद्यकीय कर्मचारी नागरी प्रशासन की सहायता करेंगे, ऐसा आश्वासन लष्करप्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे ने इस समय दिया। भारतीय नौसेना की युद्धनौकाएँ भी इसके लिए सिद्ध होने का यक़ीन नौसेनाप्रमुख अँडमिरल करमबीर सिंग ने दिलाया। वायुसेना ने गत तीन दिनों में २५ टन वैद्यकीय सामग्रियों की आपूर्ति की है। साथ ही, वायुसेना ने लडाखस्थित संदिग्ध मरीज़ों के परीक्षणों के सँम्पल्स नयी दिल्ली तक एअरलिफ्ट किये। वक़्त आने पर वायुसेना ‘सी-१७ एस’ , ‘सी- १३० जेएस’ जैसे हवाईजहाज़ तैनात करेगी, ऐसा वायुसेनाप्रमुख भदौरिया ने बताया।

ईरान, इटली, मलेशिया जैसे देशों से लौटे भारतीय लोग, लष्कर के क्वारन्टाईन सुविधा केंद्रों में हैं। इस बैठक में डीआरडीओ और रक्षादल से संलग्न होनेवालीं कंपनियों के प्रतिनिधि भी उपस्थित थे। कोरोनावायरस के संकट को मात देने के लिए डीआरडीओ युद्धस्तर पर काम कर रही है। डीआरडीओ नॅनो टेक्नॉलॉजी पर आधारित ‘एन- ९९’ मास्क विकसित करने में जुटी है। साथ ही, डीआरडीओ इस संक्रमण से रक्षा करानेवाली अन्य सामग्री का भी निर्माण कर रही है। डीआरडीओ, एक ही समय चार लोगों के लिए उपयुक्त साबित होगा ऐसा व्हेटिंलेटर विकसित कर रही होने की जानकारी डीआरडीओ के चेयरमन डॉ. सतिश रेड्डी ने दी।

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