‘तैवान ट्रॅव्हल ॲक्ट’ के मंजूरी पर चीन से अमरिका को इशारा, तैवान को युद्ध की धमकी

बीजिंग : अमरिका के संसद में ‘तैवान ट्रॅव्हल ॲक्ट’ को मान्यता देने के बाद उसपर चीन ने कड़ी प्रतिक्रिया आयी है। इस विधेयक से चीन ने अमरिका को इशारा तथा तैवान को सीधे युद्ध की धमकी दी है। विदेश की सहायता लेनेवाले तैवान पर आग में जलने का समय आएगा, ऐसा चीन के सरकारी माध्यमों ने सूचित किया है। तथा तैवान का चीन के विरोध में उपयोग करनेवाले करने के दावपेच अमरिका पर उलटेंगे, ऐसा दावा चीन के विश्लेषक करने लगे हैं।

जनवरी महीने में अमरिकी संसद के कनिष्ठ सभागृह में ‘हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स’ ने ‘तैवान ट्रॅव्हल ॲक्ट’ को मंजूरी दी थी। उसके बाद अब अमरिका के सीनेट ने भी इस विधेयक को मान्यता दी है। अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प के हस्ताक्षर होने के बाद इस विधेयक का कायदे में रूपांतर होगा। उसके बाद उसके पहले ही चीन ने इस विधेयक से अमरिका एवं तैवान पर आलोचना करनी शुरू की है ‘तैवान ट्रॅव्हल ॲक्ट’ के अनुसार अमरिका के वरिष्ठ अधिकारियों को एवं नेताओं को तैवान का दौरा करके अपने समकक्ष अधिकारी एवं नेताओं से मिलना आसान होने वाला है। तथा अमरिका को भेंट देने वाले तैवान के अधिकारी एवं नेताओं के राजशिष्टाचार के अनुसार स्वागत करने का अवसर भी इस विधेयक के वजह से अमरिका को मिलने वाला है।

इस विधेयक पर चीन से संतप्त प्रतिक्रिया आई है। तैवान यह स्वतंत्र देश ना होकर अपना भूभाग होने का दावा चीन से किया जाता है। तैवान पर चीन का अधिकार बताने वाले ‘वन चायना’ धारणा चीन ने स्वीकारी है और अमरिका ने भी उसे मान्यता दी थी। पर अब तैवान के बारे में अमरिका के धारणा में बड़े बदलाव होते दिखाई दे रहे हैं। ‘तैवान ट्रॅव्हल ॲक्ट’ दिखाई देने लगे हैं। चीन के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता हुआ चुनयिंग ने अमरिकी संसद में मंजूर हुए इस विधेयक का निषेध जताया है तथा अमरिका ने अब तक चीन के साथ जारी किए हैं, संयुक्त निवेदन का सम्मान करें एवं ‘वन चायना’ धारणा पर कायम रहे, ऐसी मांग चुनयिंग ने की है।

किसी भी हालात में चीन तैवान के बारे में समझौता नहीं करेगा, ऐसा कहकर चीन के विश्लेषक अमरिका पर कड़ी आलोचना कर रहे हैं। तैवान का उपयोग करके चीन को तकलीफ में डालने का प्रयत्न अमरिका पर उल्टेगा ऐसा ‘चायना इंस्टिट्यूट ऑफ इंटरनॅशनल स्टडीज’ के उपाध्यक्ष रुआन झोंग्झे ने सूचित किया है। तथा इस प्रश्न पर अमरिका एवं चीन का तनाव उग्ररूप धारण कर सकता है, ऐसा झोंग्झे ने आगे कहा है। अमरिका को इस प्रश्न पर इशारे देने वाले चीन ने तैवान को सीधे शब्दों में युद्ध की धमकियां दी जा रही है।

विदेशी सहायता लेकर अपने निर्माण करनेवाले तैवान पर पश्चाताप का समय आएगा। इसकी वजह से भड़के हुए आग में जलने का समय जल्दी आएगा, ऐसी धमकी ‘चायना डेली’ चीन के सरकारी दैनिक ने दी है। तथा चीन से संपूर्ण स्वतंत्रता का पुरस्कार करने वाले तैवान के राष्ट्राध्यक्ष ‘त्साई इंग-वेन’ इनपर देशद्रोह की कार्वाई की जा सकती है एवं लष्करी हस्तक्षेप करके चीन तैवान के नेतृत्व की देश विरोधी कारवाईयां रोक सकता है, ऐसा चायना डेली ने सूचित किया है।

दौरान अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प ने कई महीनों पहले तैवान के बारे में ठोस भूमिका स्वीकारने के संकेत दिए थे। पहले हुए अमरिकन राष्ट्राध्यक्ष ने तैवान के बारे में चीन की भूमिका को नजरअंदाज करके उसे मान्यता दी थी। हम यह गलती नहीं करेंगे, ऐसा इशारा राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने दिया था। तथा ट्रम्प सत्ता पर आने के बाद तैवान के राष्ट्राध्यक्ष ‘त्साई इंग-वेन’ ने अमरिका का दौरा किया था। इसकी वजह से ‘तैवान ट्रॅव्हल ॲक्ट’ के पीछे ट्रम्प प्रशासन की नियोजित धारणा होने की बात स्पष्ट होती है। उस समय चीन द्वारा तैवान के बारे मे दिखा रहे अति संवेदनशीलता को देखते हुए, ट्रम्प प्रशासन को इस धारणा के लिए चीन से कड़ा प्रत्युत्तर मिलने की आशंका सूचित हो रही है।

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