‘एलएसी’ के लिए नए लष्करी वाहनों को रवाना करके भारत पर दबाव बढ़ाने की चीन की कोशिश

बीजिंग – ‘एलएसी’ पर तनाव कम करने के लिए भारत और चीन के सेना अधिकारियों की चर्चा का १३ वां दौर भी असफल रहा। इसके बाद चीन ने ‘एलएसी’ पर आक्रामक गतिविधियाँ शुरू की हैं। लद्दाख के ‘एलएसी’ के साथ ही चीन की सेना अरुणाचल प्रदेश के ‘एलएसी’ पर भी आक्रामक होने की खबरें प्राप्त हो रही हैं। ठंड़ के मौसम में भी अपने सैनिकों को अविरत सामान की आपूर्ति करने के लिए किसी भी मौसम में काम करनेवाले नए लष्करी वाहन चीनी सेना को प्रदान किए गए हैं। भारत के साथ चर्चा असफल होने के बाद अपनी सेना को चीन ने यह नए वाहन प्रदान करके भारत को संदेश देने का दावा इस देश के मुखपत्र ने किया।

लष्करी वाहनबीते वर्ष लद्दाख के ‘एलएसी’ पर दोनों देशों की सेनाएं आमने-सामने खड़ी थीं। इस दौरान भारत की तुलना में चीनी सेना को प्राप्त सुविधाओं का दर्जा कहीं बेहतर होने के दावे चीन ने किए थे। भारतीय सेना लद्दाख की ठंड़ में जम रही थी, तब चीन के सैनिकों को गरम कपड़े और गरम भोजन मिल रहा था, ऐसे दावे चीन के सरकारी माध्यमों ने ठोके थे। असल में, लद्दाख की ठंड़ में चीनी सेना की स्थिति काफी खराब हुई थी। चीन ने इस स्थिति की खबरें छुपाने की कड़ी कोशिश की। फिर भी चीन की सेना अपनी यह नाकामी छुपा नहीं सकी।

इस पृष्ठभूमि पर चीन ने सभी तरह के मौसम में चलनेवाले वाहन अपनी सेना को प्रदान किए हैं। यह लष्करी वाहन तकरीबन १.५ टन भार की यातायात करने की क्षमता रखते हैं और उंचाई के क्षेत्र में भी चल सकते हैं, ऐसे दावे चीन ने किए हैं। इस वजह से दुर्गम क्षेत्र में तैनात चीनी सैनिकों को सामान की आपूर्ति करने की समस्या का हल निकल सकता है, ऐसा चीनी विश्‍लेषकों ने कहा है। भारत और चीन के सेना अफसरों की लद्दाख के ‘एलएसी’ पर तनाव कम करने के लिए हुई १३ वें दौर की चर्चा नाकाम होने के बाद चीन ने अपनी सेना को यह वाहन प्रदान करने का निर्णय करना, ध्यान आकर्षित करता है, ऐसा दावा चीन के सरकारी मुखपत्र ‘ग्लोबल टाईम्स’ ने किया है।

इसके ज़रिये ‘एलएसी’ पर लंबे समय तक तैनाती के लिए तैयार रहने का संदेश चीन ने भारत को दिया है। लेकिन, इस संदेश का चीन की उम्मीद के अनुसार भारत पर असर होने की बिल्कुल संभावना नहीं है। चीन के साथ ‘एलएसी’ पर तनाव इतनी जल्दी खत्म नहीं होगा, यह बात भारतीय सेना के वरिष्ठ अफसरों ने पहले ही स्पष्ट की थी। इस वजह से ‘एलएसी’ पर भारतीय सेना पूरी तरह से तैयार है और अगले दिनों में ‘एलएसी’ पर लष्करी एवं वायुसेना की क्षमता अधिकाधिक बढ़ाने के लिए भारत ने कदम उठाए हैं। चीन को भी इसका पूरा अहसास है। लेकिन, भारत के खिलाफ हम सख्त उपाय कर रहे हैं, ऐसी खबरें लगातार जारी करते रहना अब चीन की ज़रूरत बन गई है। इसके ज़रिये चीन हम भारत के खिलाफ काफी कुछ कर रहे हैं, यह भ्रम फैलानेवाला चित्र खड़ा करता हुआ दिख रहा है।

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