काशी भाग- ४

काशी भाग- ४

काशी के अधिकतम चित्रों में गंगाकिनारे के घाट और उन घाटों पर रहनेवाली विशेषतापूर्ण छत्रियाँ दिखायी देती हैं। दरअसल वाराणसी-काशी में गंगाजी के तट पर घाटों का निर्माण किया गया, वह मनुष्यों की सहूलियत के लिए; क्योंकि काशी आनेवालें और काशी में बसनेवालें पवित्र गंगाजी में स्नान तो अवश्य करेंगे ही। १२वी सदी के गाहडवाल […]

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काशी भाग-३

काशी भाग-३

निरन्तर बहनेवालीं गंगाजी ने, जब से काशी में मनुष्यों की बस्तियॉं बसने लगी, तब से लेकर आज तक काशी का साथ निभाया हैं और वे ही काशी के अतीत एवं वर्तमान की प्रमुख गवाह हैं| काशी नगरी के इतिहास का बौद्ध वांग्मय  में भी वर्णन किया गया है| बौद्धों के महावग्ग एवं जातकग्रन्थ इनसे काशी […]

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काशी भाग-२

काशी भाग-२

काशी नगरी जितनी प्राचीन है, उसका इतिहास भी उतना ही प्राचीन है| इस नगरी का इतिहास उसके अस्तित्व के साथ ही शुरू होता है और हजारों वर्षों के प्रवास की झॉंकी दिखलाता है| वेदकाल से ही इस नगरी का अस्तित्व था, क्योंकि अथर्ववेद में काशी नगरी बसानेवाले काशी या काश्य नामक लोगों का उल्लेख किया […]

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काशी भाग-१

काशी भाग-१

प्रकाश का और मनुष्य का क़ाफ़ी क़रीबी रिश्ता है। मॉं की कोख से जन्म लेने के बाद यह प्रकाश ही उस बालक को आसपास की सृष्टि का ज्ञान कराता है। फिर चाहे वह प्रकाश सूरज का हो, ट्यूबलाईट का हो या मोमबत्ती का। महत्त्वपूर्ण बात यह है कि यह प्रकाश ही मनुष्य को आसपास की […]

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जबलपुर

जबलपुर

मध्यप्रदेश इस नाम से ही हमारी समझ में आता है कि यह प्रदेश भारत के मध्य में स्थित है। मध्यप्रदेश में प्राकृतिक सुन्दरता से सम्पन्न बहुत सारे स्थान हैं। जबलपुर यह उनमें से ही एक है। जबलपूर शहर उसकी प्राकृतिक सुन्दरता के लिए तो मशहूर है ही, लेकिन साथ ही नर्मदा नदी के पात्र में […]

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तंजावर

तंजावर

भारत के विभिन्न प्रदेशों की भौगोलिक परिस्थिति के अनुसार भारतीयों के आहार में भी थोड़ीबहुत भिन्नता रहती है। उत्तरी भारत में आहार में गेहुं की प्रधानता रहती है, वहीं दक्षिणी भारत में चावल की प्रधानता रहती है। तमिलनाडु राज्यस्थित ‘तंजावर’ को तमिलनाडु राज्य के चावल के भण्डार के रूप में जाना जाता है। तंजावर यह […]

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देहरादून

देहरादून

सैन्य या कोई व्यक्ति यदि किसी एक ही स्थान पर लम्बे समय तक वास्तव्य करता है, तब ‘उसने डेरा जमा लिया है’ ऐसे हम कहते हैं। इसी ‘डेरा’ शब्द से ‘डेहराडून’ (देहरादून) यह शहर जाना जाता है। डेहराडून (देहरादून) इस शहर का नाम ही ‘डेरा (डेहरा)’ और ‘डून’ इन दो शब्दों से बना हुआ है। […]

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पटना

पटना

भारत के इतिहास में कईं बार ‘पाटलिपुत्र’ का उल्लेख मिलता है। हमारे प्राचीन भारतवर्ष में पाटलिपुत्र नाम का एक सम्पन्न नगर था। पाटलिपुत्र नगर का उल्लेख भारत का एक महत्त्वपूर्ण शहर इस तरह से किया जाता था। प्राचीन समय में भारत की कीर्ति एवं वैभव में चार चॉंद लगानेवाला शहर इस तरह से पाटलिपुत्र की […]

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तिरुअनन्तपुरम् (भाग – २)

तिरुअनन्तपुरम् (भाग – २)

अनन्त की इस सदाहरित नगरी में अनन्त का सुन्दर मंदिर है। इस मंदिर का निर्माण क़िले के भीतर किया गया था। यह मंदिर ‘पद्मनाभस्वामी मंदिर’ इस नाम से जाना जाता है। यहॉं विष्णुजी को ‘अनन्तशयन’ या ‘अनन्तपद्मनाभ’ इस नाम से पुकारते हैं। इस पद्मनाभस्वामी मंदिर का उल्लेख महाभारत में किया गया है। कईं पुराणकथाओं में […]

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तिरुअनन्तपुरम् (भाग – १)

तिरुअनन्तपुरम् (भाग – १)

भारतवर्ष में तीन प्रमुख मौसम हैं – गर्मी, बारिश और जाड़े का मौसम। भारतवर्ष यह कृषिप्रधान देश होने के कारण बारिश तो हमारे लिए जीवन ही है। ते़ज गर्मी के मौसम के बाद मई के अन्त में एवं जून के प्रारम्भ में हम ‘केरल में मान्सून का आगमन हुआ है’ इस ख़बर की बड़ी उत्सुकतापूर्वक […]

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