अमरिका भारत पर प्रतिबंधों के बारे में जल्द ही फ़ैसला लेगा – अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प के संकेत

वॉशिंगटन – रशिया से एस-४०० की खरीदारी करने के बाद अमरिका भारत पर प्रतिबंध जारी करेगा? ऐसी चर्चा शुरू हुई थी। भारत को उसके परिणाम जल्दी देखने मिलेंगे, ऐसा कहकर अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने यह चर्चा अधिक तीव्र की है। पर अमरिका भारत पर प्रतिबंध जारी करेगा या नहीं? इस पर ट्रम्प ने किसी भी स्वरुप का भाष्य नहीं किया है। पर अमरिका ने दिए अवधि के बाद भी ईरान से ईंधन की खरीदारी करने वाले देशों का क्या करना है? वह अमरिका देख लेगा, ऐसा भी ट्रम्पने सूचित किया है।

पिछले हफ्ते में भारत ने रशिया से एस-४०० हवाई सुरक्षा यंत्रणा की खरीदारी का करार किया था। लगभग ५ अरब डॉलर्स से अधिक रकम के इस करार को अमरिका ने विरोध किया था। यह करार आगे ले जाने पर भारत को अमरिका के प्रतिबंधों का झटका लगेगा, ऐसा अमरिका ने सूचित किया था। पर उसकी परवाह न करते हुए भारत ने इस करार को संपन्न किया है। उसके बाद अमरिका भारत पर प्रतिबंध जारी करेगा ऐसी चर्चा हुई थी। पर अमरिका ने इस बारे में किसी भी शुरू की ठोस भूमिका नहीं ली है।

राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने पत्रकारों को इस संदर्भ में पूछे हुए प्रश्नों को सीधा उत्तर नहीं दिया है। इस करार के बाद अमरिका क्या करेगा, वह भारत को जल्द ही समझ में आएगा, ऐसा ट्रम्प ने कहा है। अमरिका का यह उत्तर आपकी अपेक्षा से ही जल्द मिलेगा, ऐसा दावा राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने किया है।

एस-४०० के बारे में ऐसे सूचक प्रतिक्रिया देते हुए ट्रम्प ने ईरान से ईंधन खरीदारी करनेवाले देशों को कड़ी चेतावनी दी है। ४ नवंबर के बाद भी ईरान से ईंधन की खरीदारी करने वाले देशों का क्या करना है, यह अमरीका देख लेगा, ऐसा कहकर राष्ट्राध्यक्ष ने कड़ी कार्रवाई के संकेत दिए हैं। ईरान को परमाणु शस्त्र से दूर रखने के लिए और ईंधन की खरीदारी ना करे, ऐसे अमरिका की मांग है। मांगों को ना मानने पर ईरान के ग्राहक देशों को कड़े प्रतिबंधों का सामना करना होगा ऐसी चेतावनी प्रशासन ने इससे पहले दी थी, जिसमें भारत का भी समावेश है।

भारत ईरान से ईंधन की खरीदारी शुरू रखेगा, ऐसी ठोस भूमिका ली है। इससे पहले भी अमरिका ने ईरान से इनकी खरीदारी पर जारी किए प्रतिबंधों का भारत पालन नहीं करता। उस समय परिस्थिति पूर्ण रूप से अलग होती दिखाई देती है। रशिया से एस-४०० और इरान से ईंधन खरीदारी करने वाले भारत को प्रतिबंधों का झटका लगेगा, इस बारे में भारत अमरिका को अनुमत के लिए ना ले, ऐसे संकेत राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प से दिए जा रहे हैं। पर प्रतिबंधों का दबाव कायम रखने की भूमिका ट्रम्प प्रशासन ने ली है, फिर भी इस बारे में अंतिम फ़ैसला अभी तक गुलदस्ता में रखा गया है।

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