‘डीआर कांगो’ में हुए दो आतंकी हमलों में १८ की मौत

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तरकिन्शासा: अफ्रीका के डीआर कांगोमें हुए आतंकी हमले में कम से कम १७ लोग मारे गए है| ‘डीआर कांगोके पूर्वीय हिस्से के ओयचाशहर पर यह हमला हुआ है और इसके पीछे आयएस से जुडे आतंकी गुट एडीएफका हाथ होने का दावा किया जा रहा है| ओयचा के साथ ही बेनी शहर में भी आतंकियों ने बडा बम धमाका किया| इस धमाके में तीन लोग जख्मीं हुए है| पिछले महीने से डीआर कांगोमें हुआ यह पांचवा आतंकी हमला साबित हुआ है| इस हमले की वजह से अफ्रीका में चरमपंथी आतंकी संगठन मजबूत होने के मुद्दे पर हो रहे दावों का समर्थन हो रहा है|

गुरूवार के दिन डीआर कांगोके पूर्वीय हिस्से के ओयचा शहर में एडीएफके आतंकियों ने एक से पीछे एक दो हमलें किए| पहले हमले में कोलोकोकोक्षेत्र में तीन लोगों की हत्या भी हुई| इसके बाद शहर से नजदिक होनेवाले मान्तुम्बी गांव में हमला करके १४ लोगों की हत्या की| ओयचा के हमले के बाद बेनी शहर को भी आतंकियों ने लक्ष्य करने की बात सामने आयी है| शहर के बाजार में बाईक पर पहुंचे दो आतंकियों ने बम फेंकें| इस दौरान हुए धमाके में तीन लोग जख्मीं होने की जानकारी सूत्रों ने साझा की|

डीआर कांगोके इस नए हमले के बाद महीने के दौरान हुए कुल आतंकी हमलों की संख्या पांच हुई है| ‘आयएससे जुडे गुट के तौर पर जाने जा रहे एडीएफही यह हमलें करने की बात स्पष्ट हुई है| पिछले वर्ष से डीआर कांगोकी सेना ने इस गुट के विरोध में व्यापक मुहीम शुरू की थी| पर, इस मुहीम की वजह से यह गुट और भी आक्रामक हुआ दिख रहा है और लगातार किए हमलों ने यह गुट आक्रामक होने के दावे का समर्थन हो रहा है|

डीआर कांगोमें पिछले वर्ष से एबोलाइस जानलेवा बिमारी का फैलाव हुआ है और इससे अबतक २,२०० लोगों की मौत हुई है| इसके विरोध में जागतिक आरोग्य संगठनों के साथ अंतरराष्ट्रीय स्वयंसेवी संस्थाओं ने व्यापक मुहीम शुरू रखी है| पर, पिछले कुछ महीने में बढे आतंकी हमलों की वजह से एबोलाके विरोध में जारी मुहीम पर असर होता दिख रहा है|

एडीएफसमेत अन्य स्थानिय बागी संगठन भी एबोलाके विरोध में शुरू मुहीम के ळिए बनाए केंद्र एवं वहां पर काम कर रहे स्वयंसेवकों को लक्ष्य कर रहे है| पिछले वर्ष से जारी इन हमलों में एबोलामुहीम के लिए काम कर रही लगभग १०० स्वयंसेवक मारे जाने की बात कही जा रही है| इस वजह से अब कुछ विदेशी संस्थाओं ने अपने कर्मचारी और स्वयंसेवकों को वापिस बुलाना शुरू किया है और इसका काफी बढा झटका इस मुहीम को लगेगा, यह डर भी व्यक्त हो रहा है|

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